Himachal News: मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने आज (31 मार्च) को शिमला के इंदिरा गांधी मेडिकल कॉलेज (आईजीएमसी) में 45.68 करोड़ रुपये की अनुमानित लागत से बनने वाले पहले पीईटी ब्लॉक की आधारशिला रखी। इस ब्लॉक में 21 करोड़ रुपये की पोजीट्रान एमिशन टोमोग्राफी (पीईटी) सीटी मशीन, 9 करोड़ रुपये स्पैक्ट सीटी मशीन के लिए खर्च किए गए। इसके अलावा 15.68 करोड़ रुपये की राशि ब्लॉक निर्माण कार्यों के लिए शामिल हैं। इस मौके पर सीएम सुक्खू ने कहा कि हिमाचल प्रदेश के मरीजों को पीईटी स्कैन के लिए चंडीगढ़ या दिल्ली जाना पड़ता है। वर्तमान राज्य सरकार प्रदेश में मरीजों को विश्व स्तरीय सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए प्रतिबद्ध है। पीईटी की सुविधा प्रदेश में प्राप्त होने से लोगों के पैसे और समय की बचत होगी।
कैंसर को फॉलो-अप करने में मिलेगी सहायता
सीएम सुक्खू ने कहा कि एक बार पीईटी ब्लॉक का कार्य पूरा हो जाने के बाद यह कार्डियोलॉजी, मनोचिकित्सा, यूरोलॉजी और अन्य विभागों के अलावा कैंसर का पता लगाने, प्रतिक्रिया और फॉलो-अप की सुविधा प्रदान में सहायक होगा। सीएम सुक्खू ने कहा कि सरकार का लक्ष्य एक वर्ष के भीतर सभी मेडिकल कॉलेजों में पीईटी स्कैन सुविधाएं स्थापित करना है। हमीरपुर मेडिकल कॉलेज में सेंटर ऑफ एक्सीलेंस फॉर कैंसर केयर के लिए 400 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं। उन्होंने कहा कि राज्य में कैंसर रोगियों की संख्या बढ़ रही है और कैंसर के कारणों के अध्ययन के लिए बजट में पर्याप्त धनराशि का प्रावधान किया गया है।
सरकार ने बजट में स्वास्थ्य क्षेत्र के लिए विशेष प्रावधान किए- सीएम सुक्खू
सीएम सुक्खू ने कहा कि सरकार ने स्वास्थ्य क्षेत्र को सर्वोच्च प्राथमिकता दी है उन्होंने कहा कि सरकारी अस्पतालों में रेफरल सिस्टम को समाप्त कर विश्व स्तरीय चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराने के प्रयास किए जा रहे हैं। राज्य सरकार ने बजट में स्वास्थ्य क्षेत्र के लिए विशेष प्रावधान किए हैं, जिसमें सभी मेडिकल कॉलेजों में आपातकालीन चिकित्सा विभाग की स्थापना भी शामिल है, ताकि लोगों को शीघ्र इलाज कराने में किसी तरह की असुविधा का सामना न करना पड़े।
ब्लॉक के 10 बेड पर होगा एक डॉक्टर तैनात
उन्होंने जनकारी देते हुए कहा कि इस विभाग के आईसीयू में प्रति बेड एक स्टाफ नर्स तैनात की जाएगी। कैजुअल्टी वार्ड में तीन बेड पर एक स्टाफ नर्स तैनात की जाएगी और प्रत्येक 10 बेड पर एक डॉक्टर तैनात किया जाएगा। उनकी ड्यूटी आठ घंटे तक सीमित होगी। उन्होंने कहा कि आईजीएमसी शिमला में ट्रॉमा सेंटर के साथ 175 बिस्तर क्षमता की आपातकालीन चिकित्सा सुविधा स्थापित करने के लिए 11 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं।
ये भी पढ़े- Himachal News: लाखों लोगों को लग सकता है महंगी बिजली का झटका, आज तय होगी नई दरें