इंडिया न्यूज़, हिमाचल प्रदेश (Himachal pradesh): हिमाचल प्रदेश में सीएम सुक्खू लगातार परीक्षाओं में पारदर्शिता लाने की बात कर रहे हैं। प्रदेश में जेओए आईटी का पेपर लीक होने का मामला सामने आने के बाद सीएम ने कर्मचारी चयन आयोग को भंग कर दिया। वहीं प्रदेश के बेरोजगार छात्रों ने हमीरपुर से पैदल यात्रा निकालकर शिमला सीएम मिलने पहुंचे। छात्रों ने सीएम से मुलाकात कर कर्मचारी चयन आयोग के भंग होने के बाद रिजल्ट पेंडिंग और परीक्षाएं के बीच में लटकने की बात कही। जिन छात्रों का रिजल्ट आ गया है उनका डॉक्यूमेंट वेरिफिकेशन नहीं हो रहा है।
छात्रों ने शिमला स्थित राज्य सचिवालय में सीएम से मुलाकात करके कहा कि हम आपके बच्चे हैं. हमारे साथ अन्याय मत होने देना। छात्रों ने सरकार से मांग की है कि कर्मचारी चयन आयोग को बहाल किया जाए या नए आयोग का गठन किया जाए। साथ ही इन छात्रों ने सीएम से यह भी कहा कि जल्द से जल्द लंबित पड़ी परीक्षाओं के रिजल्ट जारी किए जाए। बच्चों ने कहा कि घर-परिवार वाले सरकारी नौकरी की तैयारी के लिए ज्यादा समय नहीं दे पा रहे हैं। ऐसे में छात्रों ने सीएम से मांग की कि सीएम उन्हें इस संकट से उबारने का काम करें।
सीएम सुक्खू ने कहा कि जो मामला कोर्ट में लंबित है उसका परिणाम जल्द से जल्द निकालने का काम किया जाएगा। सीएम ने कहा कि लंबित पड़ी भर्ती प्रक्रियाओं को एक महीने के अंदर पूरा किया जाएगा। जो मामला कोर्ट में है उसके लिए हम कुछ नहीं कह सकते हैं। बेरोजगार छात्रों को भी समझना होगा कि सरकार को भी नियम कायदे में रहकर काम करना पड़ता है। सरकार छात्रों की समस्याओं को जल्द से जल्द सुलझाएगी।
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