इंडिया न्यूज़ , शिमला:
Chintpurni Temple News: पर्यटन को बढ़ावा देने में विरासत स्थल और धार्मिक पर्यटन का बहुत महत्त्वपूर्ण योगदान हैं। इनका एकीकृत विकास जहां पर्यटन की आधारभूत संरचना को सुदृढ करता है वहीं यह रोजगार के नए अवसरों को सृजित करने में भी सहायक है।
इस दिशा में भारत सरकार के पर्यटन मंत्रालय द्वारा आरम्भ की गई प्रसाद योजना (तीर्थयात्रा कायाकल्प एवं आध्यात्मिक आवर्द्धन अभियान योजना) ऊना जिला स्थित माता श्री चिंतपूर्णी मंदिर परिसर के सतत् एवं योजनाबद्ध विकास में कारगर साबित होगी। प्रसाद योजना महत्वपूर्ण तीर्थ एवं विरासत स्थलों के समावेशी, एकीकृत व बुनियादी ढांचे के विकास के साथ आजीविका, कौशल, स्वच्छता, सुरक्षा, पहुंच और सेवा वितरण पर केन्द्रित है।
प्रसाद योजना के तहत मॉं चिंतपूर्णी मंदिर में सुविधाओं के विस्तार पर 40.07 करोड़ रुपये व्यय किए जाने प्रस्तावित हैं। मॉं चिंतपूर्णी मंदिर में इस योजना को लागू करने के लिए 1696 वर्गमीटर क्षेत्र की आवश्यकता है, जिसमें से अब तक 1039 वर्ग मीटर क्षेत्र का अधिग्रहण कर लिया गया है, यानी 60 प्रतिशत से अधिक भूमि का अधिग्रहण हो चुका है और शेष लक्ष्य को शीघ्र ही पूर्ण कर लिया जाएगा।
मॉं चिंतपूर्णी मंदिर आयुक्त एवं उपायुक्त ऊना राघव शर्मा ने बताया कि प्रसाद योजना के लागू होने से श्रद्धालुओं को बेहतर सुविधाएं मिलेंगी, जिससे धार्मिक पर्यटन बढ़ेगा। अधिक श्रद्धालु आएंगे, तो स्थानीय स्तर पर रोजगार के अवसर भी बढ़ेंगे। (Chintpurni Temple News)
प्रसाद योजना के तहत मॉं चिंतपूर्णी मंदिर के लिए स्वीकृत किए गए 40.07 करोड़ रुपये में से 26.12 करोड़ रुपये मंदिर परिसर के विस्तार पर व्यय होंगे। मंदिर परिसर में तीन गेट, श्रद्धालु सुविधा केंद्र, रेलिंग, मंदिर की सजावट, ड्रेनेज सिस्टम का सुधार, शीशे की छत्त, तारों को अंडरग्राउंड करना आदि निर्माण कार्य किये जाएंगे।
वहीं 5.36 करोड़ रुपये रास्तों के सुधार, वॉटर एटीएम, तीन शैड, सोलर लाईट, कचरा प्रबंधन, ई-टॉयलेट्स के निर्माण के साथ-साथ अपशिष्ट प्रबंधन पर व्यय किए जाएंगे। 6.06 करोड़ रुपये से सीसीटीवी, डिजिटल डिस्पले सिस्टम, प्रतीक्षालयों में एलईडी स्क्रीन तथा बिजली से चलने वाले वाहनों की खरीद पर व्यय होंगे।(Chintpurni Temple News)
प्रसाद योजना के लागू होने के उपरांत श्रद्धालुओं को एक ही छत्त के नीचे बेहतर सुविधाएं उपलब्ध होंगी और बहुत सी समस्याओं का स्थाई समाधान होगा। मंदिर में भीड़ का प्रबंधन करने की व्यवस्था और बुनियादी सुविधाएं सुदृढ़ होंगी।
मॉं चिंतपूर्णी मंदिर परिसर में प्रसाद योजना के कार्यान्वयन से आधारभूत संरचना के विकास के साथ-साथ रोजगार के नए अवसर सृजित होंगे और श्रद्धालुओं के लिए अत्याधुनिक सुविधाओं का समावेश भी होगा।
प्रसाद योजना से धार्मिक और सांस्कृतिक विरासत के संरक्षण एवं घरेलू और अन्तरराष्ट्रीय पर्यटकों को आकर्षित करने में भी मदद मिलेगी।(Chintpurni Temple News)
प्रदेश सरकार द्वारा राज्य में धार्मिक स्थलों के विकास एवं इनमें अत्याधुनिक सुविधाएं सृजित करने के लिए अनेक महत्वकांक्षी योजनाएं कार्यान्वित की जा रही हैं।
वित्त वर्ष 2022-23 के बजट में प्रदेश में विशिष्ट पहचान वाले 75 गांवों को देश के सांस्कृतिक मानचित्र पर लाने के लिए बड़ी कार्य योजना की घोषणा की गई है। इससे प्रदेश के इन गांवों व राज्य की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत व ऐतिहासिक विशिष्टता देश और दुनिया के सामने आ सकेगी।
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