इंडिया न्यूज, Mandi (Himachal Pradesh)
ग्रामीण विकास, पंचायती राज, कृषि, मत्स्य एवं पशुपालन मंत्री विरेंद्र कंवर (Virendra Kanwar) ने रविवार को मंडी सदर (Mandi sadar) उपमंडल के चैकी गांव में स्थित गौशाला कान्हा गौ ग्राम संवर्धन केंद्र (Kanha Gau Village Promotion Center) में भगवान कृष्ण गोपाल की मूर्ति स्थापना (idol of Lord Krishna Gopal) के उपलक्ष्य में आयोजित समारोह के दौरान कहा कि जय राम सरकार हिमाचल में भारतीय गाय आधारित जीवन पद्धति विकसित करने की दृष्टि से काम कर रही है।
प्रदेश भर में गौ विज्ञान केंद्र खोले जा रहे हैं ताकि दुग्ध उत्पादों के अलावा गौ मूत्र और गोबर के उपयोग से भी गाय आधारित अर्थव्यवस्था को बल दिया जा सके।
इस मौके पर उन्होंने गौशाला मंदिर में पूजा-अर्चना की और वहां आयोजित हवन-यज्ञ में भाग लिया। मंत्री ने परिसर में सेब का पौधा भी रोपा। उन्होंने गौवंश संरक्षण और समाजहित के कार्यों के लिए कान्हा गौ ग्राम संवर्धन केंद्र की सराहना की।
विरेंद्र कंवर ने अपने संबोधन में कहा कि भारत की सनातन संस्कृति गाय से जुड़ी है। अपनी संस्कृति, जड़ों से कटना कभी हितकर नहीं होता।
हमारे देश में गंगा, गीता और गौ माता को बराबर का महत्व दिया गया है लेकिन खेती के लिए तकनीकी और केमिकल्स के अंधाधुंध इस्तेमाल के चलते लंबे समय तक गौवंश का तिरस्कार किया गया जिससे भारतीय नस्ल की गाय लुप्त होती चली गई।
आज हम जहरीली खेती से एक बड़ी त्रासदी की ओर बढ़ रहे हैं। इससे बचाव का रास्ता गौ पालन से जुड़ा है। हमारी सरकार गाय आधारित कृषि को प्रोत्साहन दे रही है।
प्राकृतिक खेती को बढ़ावा देने के लिए जरूरी प्रशिक्षण और आर्थिक सहायता दी जा रही है।
विरेंद्र कंवर ने कहा कि हिमाचल की पहाड़ी गाय के संवर्धन के लिए केंद्र सरकार ने 4.64 करोड़ रुपए की गौरी परियोजना स्वीकृत की है।
इस परियोजना में पहाड़ी गाय के संरक्षण और नस्ल सुधार का काम किया जाएगा। राष्ट्रीय गोकुल मिशन के तहत सिरमौर जिले के कोटला बड़ोग में हिमाचली पहाड़ी गाय फार्म की स्थापना की जा रही है।
मंत्री ने कहा कि मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने किसानों और गौवंश के हितों को ध्यान में रखते हुए सरकार बनते ही बेसहारा पशुओं को आश्रय देने और उनकी देखभाल के लिए हिमाचल प्रदेश गौसेवा आयोग की स्थापना की।
गौशालाओं की मजबूती, गौ सदनों व शैड निर्माण पर जोर दिया गया। प्रदेश में 198 गौ सदन संचालित किए जा रहे हैं। इनके सुदृढ़ीकरण के लिए लगभग 3.08 करोड़ रुपए आबंटित किए गए हैं।
इन सब प्रयासों के परिणामस्वरूप प्रदेश में करीब 20 हजार बेसहारा गौवंश को सड़क से गौ सदनों में पहुंचाकर आश्रय देने में सफलता मिली है।
उन्होंने बताया कि प्रदेश में 6 गौ अभ्यारण बनाए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि प्रदेश में उच्च नस्ल के पशुओं की संख्या बढ़ाने के लिए कृत्रिम गर्भाधान को बढ़ावा दिया जा रहा है।
ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज, कृषि, पशुपालन एवं मत्स्य पालन मंत्री ने चैकी से चुलाहणू 3 किलोमीटर सड़क निर्माण के लिए 4 लाख रुपए देने की घोषणा की।
चैकी में कुआं निर्माण को लेकर 1 लाख रुपए देने की घोषणा के साथ मृदा संरक्षण अधिकारी को मौका करने के निर्देश दिए। उन्होंने कान्हा गौ ग्राम संवर्धन केंद्र की चारदीवारी के लिए 3 लाख रुपए देने और समारोह में सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत करने वाले सायरी महिला मंडल को 11 हजार रुपए देने की घोषणा की।
समारोह में कान्हा गौ ग्राम संवर्धन केंद्र चैकी के अध्यक्ष वेदप्रकाश ने मुख्यातिथि का स्वागत करते हुए गौशाला केंद्र की गतिविधियों का ब्यौरा दिया।
इस अवसर पर संत अभिषेक गिरि महाराज, गौसेवा आयोग के सदस्य डा. अशोक शर्मा, विश्व हिंदू परिषद के प्रदेश अध्यक्ष लेखराज राणा, सेवा भारती के हिमाचल प्रांत के संगठन मंत्री राकेश, उपायुक्त अरिंदम चैधरी, जिला परिषद के अध्यक्ष पाल वर्मा, उपाध्यक्ष मुकेश चंदेल, भाजपा सदर के मंडलाध्यक्ष मनीष कपूर, कान्हा गौ ग्राम संवर्धन केंद्र के महामंत्री हेमंत कुमार, पंचायत समिति के उपाध्यक्ष भुवनेश्वर सहित अन्य जनप्रतिनिधि एवं स्थानीय लोग उपस्थित रहे।
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