India News (इंडिया न्यूज़),Brown sugar Vs White sugar: जब भी कभी खुशी की बात हो तो सबसे पहले एक ही बात जुबान पर आती है कुछ मीठा हो जाए, ज्यादातर लोगों की मॉर्निंग चीनी से होती है और रात भी मीठे दूध से खत्म होती है। कुछ लोग ब्राउन शुगर का सेवन करते है तो कुछ लोग सफेद चीनी का सेवन करते है। लेकिन ज्यादातर लोग ब्राउन शुगर का सेवन करने की सलाह देते है। ऐसे में जानते है आखिर ब्राउन शुगर सफेद चीनी से बेहतर क्यों है।
ब्राउन शुगर में व्हाइट शुगर की तुलना में कम कैलोरी होती है। इसलिए ब्राउन शुगर को एक स्वस्थ विकल्प के रूप में ज्यादा चुना जाता है। इसके अलावा, जिंक, कैल्शियम, आयरन और फॉस्फोरस जैसे कई सूक्ष्म पोषक तत्व भी ब्राउन शुगर में शामिल है।
ब्राउन शुगर में कम कैलोरी होती है सफेद चीनी की तुलना में। इसलिए ब्राउन शुगर का एक स्वस्थ विकल्प के रूप में सेवन किया जाता है। इसके अलावा, ब्राउन शुगर में जिंक, कैल्शियम, आयरन और फॉस्फोरस जैसे कई सूक्ष्म पोषक तत्व शामिल है। जोकि हमारे शरीर की कई कार्यात्मकताओं को नियंत्रण करने में काम करता है।
मिली जानकारी के अनुसार ,चीनी शोधन प्रक्रिया से पता चला है कि, उबलते चीनी क्रिस्टल में गुड़ सिरप मिलाकर ब्राउन शुगर बनाया जाता है। ब्राउन शुगर बनाने का दूसरा तरीका भी है। दूसरा तरीका दानेदार सफेद चीनी को गुड़ के साथ लेप करने से बनाई जाती है। ज्यादातर ब्राउन शुगर में वजन के हिसाब से लगभग 5% गुड़ होता है।
सफेद टेबल चीनी ज्यादातर गन्ने से बनती है। गन्ने के रस से पानी और अशुद्धियों को हटाकर बचे सुक्रोज के क्रिस्टल रूप को सफेद चीनी कहते है।
फिटनेस फ्रीक लोग सफेद चीनी के बजाय ब्राउन शुगर का सेवन करने की सलाह देते है। लेकिन न्यूट्रिशनल वैल्यू और कैलोरी की बात करें तो ब्राउन शुगर में थोड़े ज्यादा न्यूट्रिशन होते है। लेकिन यदि आप हेल्थी डाइट फॉलो करना चाहते हैं तो असली शहद या फिर गुड़ का सेवन करें
Also Read: